राजकुमार
हरिद्वार। ज्वालापुर क्षेत्र में स्थित देसी शराब के ठेके को लेकर एक बार फिर विरोध तेज हो गया है। स्कूल से महज कुछ ही दूरी पर चल रहे इस ठेके को हटाने के लिए देवभूमि भैरव सेना संगठन ने आबकारी विभाग को लिखित पत्र भेजा है। संगठन ने चेतावनी दी है कि यदि जल्द कार्रवाई नहीं हुई तो धरना-प्रदर्शन किया जाएगा।
गौरतलब है कि क्षेत्र में पूर्व में अंग्रेजी शराब का ठेका भी मौजूद था, जिसे स्थानीय जनता और सामाजिक संगठनों के विरोध के बाद प्रशासन ने हटा दिया था। उस समय प्रशासन द्वारा यह आश्वासन दिया गया था कि दोनों ठेके—अंग्रेजी और देसी—को हटाया जाएगा। हालांकि, अब तक केवल अंग्रेजी शराब का ठेका ही हटाया गया है, जबकि देसी शराब का ठेका यथावत चल रहा है।

देवभूमि भैरव सेना ने सवाल उठाया है कि क्या यह आबकारी विभाग की मिलीभगत है, जो देसी ठेके को हटाने में इतना विलंब किया जा रहा है? संगठन का कहना है कि शराब ठेका बच्चों के भविष्य को खराब करने वाला साबित हो सकता है, क्योंकि यह स्कूल से बेहद करीब स्थित है और छात्र-छात्राओं पर इसका गलत प्रभाव पड़ता है। संगठन के पदाधिकारियों ने यह भी कहा कि अगर प्रशासन ने जल्द ही ठेके को हटाने की ठोस कार्यवाही नहीं की तो क्षेत्रीय जनता को साथ लेकर उग्र आंदोलन शुरू किया जाएगा।
क्षेत्रीय जनता का आक्रोश
स्थानीय निवासीयो का कहना है, “स्कूल के पास शराब का ठेका होना बेहद शर्मनाक है। छोटे-छोटे बच्चे जब स्कूल आते-जाते हैं, तो वहां खड़े नशे में धुत लोगों को देखकर डर जाते हैं। हम कई बार शिकायत कर चुके हैं, लेकिन अब तक ठोस कार्रवाई नहीं हुई।”
वहीं, महिलाओं का कहना हैं कि , “शराब ठेका हटना चाहिए। हमारे बच्चों का भविष्य दांव पर लगा है। यहां लड़ाई-झगड़े आम हो गए हैं। महिलाओं का घर से निकलना मुश्किल हो गया है।”
संगठन की चेतावनी
देवभूमि भैरव सेना के कार्यकारिणी अध्यक्ष दिवाकर वर्मा ने कहा, “हमने आबकारी अधिकारी को स्पष्ट कर दिया है कि यदि जल्द ठेका नहीं हटाया गया तो संगठन सड़क पर उतरेगा। यह जनहित से जुड़ा मामला है, किसी भी सूरत में अब बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।”
अब देखना यह होगा कि प्रशासन जनता की इस गहरी नाराजगी को कितनी गंभीरता से लेता है और क्या देसी शराब के ठेके को हटाने की दिशा में कोई ठोस कदम उठाया जाता है या फिर विरोध और भी तेज़ होगा।
